Operation Sindoor Success: क्या अब आतंक के हर ठिकाने का अंत तय है? राजनाथ सिंह के लखनऊ दौरे ने खड़े किए बड़े सवाल
लखनऊ की धरती पर एक बार फिर देशभक्ति का ज्वार उमड़ा जब रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ‘Operation Sindoor’ की कामयाबी का ज़िक्र करते हुए पाकिस्तान को कड़ा संदेश दिया। पहली बार इस ऑपरेशन के बाद लखनऊ पहुँचे राजनाथ सिंह का भाजपा कार्यकर्ताओं और आम जनता ने ज़ोरदार स्वागत किया। लेकिन सबसे ज़्यादा ध्यान खींचा उनके भाषण का वो हिस्सा जिसमें उन्होंने बताया कि भारतीय सेना ने आतंकवाद पर सर्जिकल स्ट्राइक से भी आगे जाकर काम किया है।
ऑपरेशन सिंदूर: आतंकवाद के खिलाफ Surgical Strike से भी बड़ा कदम?
क्या था ऑपरेशन सिंदूर?
राजनाथ सिंह ने साफ तौर पर कहा कि “ऑपरेशन सिंदूर” भारत की सुरक्षा रणनीति में एक निर्णायक कदम था। भारतीय सेनाओं ने पाकिस्तान की सीमा में घुसकर आतंक के अड्डों को तबाह कर दिया और बड़ी संख्या में आतंकियों का सफाया किया।
“हमारी सेना ने एक कुशल डॉक्टर और सर्जन की तरह काम किया है, जैसे सर्जन बीमारी की जड़ पर औजार चलाता है, वैसे ही हमारी सेना ने आतंक की जड़ों को काट फेंका है।”
क्या पाकिस्तान को मिला करारा जवाब?
राजनाथ सिंह का यह बयान बताता है कि अब भारत सिर्फ जवाब नहीं देता, बल्कि कार्रवाई करने से भी पीछे नहीं हटता। आतंक के खिलाफ यह “सर्जिकल सर्जरी” न सिर्फ दुश्मन को जवाब है, बल्कि भारत की सैन्य ताकत का भी प्रदर्शन है।
सीएम योगी को मिला खास श्रेय – ‘बीमारी हो या आतंक, इलाज तय है!’
राजनाथ सिंह ने अपने भाषण में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की भी जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा:
“2017 में जब यूपी में डबल इंजन की सरकार बनी, तो मानो प्रदेश की किस्मत ही बदल गई। योगी जी ने सिर्फ कानून व्यवस्था नहीं सुधारी, बल्कि जापानी इंसेफेलाइटिस जैसी घातक बीमारियों पर भी लगाम कस दी।”
उन्होंने बताया कि पूर्वांचल में हजारों बच्चों की जान लेने वाली बीमारी से मरने वालों की संख्या अब केवल “9” रह गई है। यह किसी चमत्कार से कम नहीं है।

भारतीय सेना = भारत का असली सर्जन!
राजनाथ सिंह के बयान का सबसे अहम संदेश था कि भारतीय सेना सिर्फ फौज नहीं, बल्कि देश की सुरक्षा का अनुभवी सर्जन है। उन्होंने बार-बार इस बात पर ज़ोर दिया कि आतंक की जड़ें सिर्फ दिखावे से नहीं, सटीक और आक्रामक कार्रवाई से खत्म की जा सकती हैं।
जानिए ऑपरेशन सिंदूर से जुड़े कुछ मुख्य तथ्य:
- सुरक्षा एजेंसियों की इनपुट पर कार्रवाई
- सीमा पार आतंक के ठिकानों पर सीधा हमला
- सटीक टारगेटिंग के साथ ऑपरेशन की गोपनीय योजना
- राजनीतिक नेतृत्व और सेना के बीच बेहतरीन तालमेल
निष्कर्ष: क्या ऑपरेशन सिंदूर है New India की नई नीति?
राजनाथ सिंह का लखनऊ दौरा सिर्फ एक भाषण नहीं, बल्कि नए भारत की रक्षा नीति का संकेत है — जिसमें आतंकवाद के खिलाफ न कोई समझौता है और न ही कोई रुकावट। चाहे बात सीमा पार कार्रवाई की हो या प्रदेश में बीमारी के खिलाफ जंग की, डबल इंजन की सरकार और भारतीय सेना दोनों ने अपना काम बखूबी किया है।
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